Navratri Fasting Rules: नवरात्रि 2023 में क्या करें और क्या न करें
Navratri Fasting Rules: नवरात्रि हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण त्योहार है। इस दौरान मां दुर्गा की पूजा की जाती है। नवरात्रि में क्या करें और क्या न करें, यह जानना हर भक्त के लिए महत्वपूर्ण है।
Navratri Fasting Rules
नवरात्रि हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण त्योहार है। यह मां दुर्गा की पूजा का नौ दिवसीय उत्सव है। नवरात्रि दो बार मनाया जाता है, एक बार चैत्र महीने में और दूसरी बार आश्विन महीने में। चैत्र नवरात्रि को वसंत नवरात्रि भी कहा जाता है, जबकि आश्विन नवरात्रि को शारदीय नवरात्रि कहा जाता है।
नवरात्रि का अर्थ (Meaning Of Navratri)
नवरात्रि का अर्थ है “नौ रातें”। नवरात्रि के नौ दिनों में, भक्त मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा करते हैं। ये नौ रूप हैं:
- शैलपुत्री
- ब्रह्चारिणी
- चंद्रघंटा
- कुष्मांडा
- स्कंदमाता
- कात्यायनी
- कालरात्रि
- महागौरी
- सिद्धिदात्री
नवरात्रि का महत्व (Importance of Navratri)
नवरात्रि का हिंदू धर्म में बहुत महत्व है। यह एक ऐसा समय है जब भक्त मां दुर्गा की आराधना करते हैं और उनकी कृपा प्राप्त करते हैं। नवरात्रि के दौरान, भक्त नौ दिनों तक व्रत रखते हैं और मां दुर्गा की पूजा करते हैं।
नवरात्रि 2023 (Navratri 2023)
नवरात्रि की तारीखें (Date of Navratri), हर साल बदलती हैं। ये तिथियां चंद्र कैलेंडर पर आधारित हैं। साल में दो बार नवरात्रि आती हैं, लेकिन आइए उनमें से सबसे महत्वपूर्ण के बारे में बात करते हैं।
शारदीय नवरात्रि 2023 (Shardiya Navratri 2023) आश्विन महीने के शुक्ल पक्ष में मनाई जाती है। शारदीय नवरात्रि 15 अक्टूबर 2023 से शुरू होकर 23 अक्टूबर 2023 तक मनाई जाएगी। शारदीय नवरात्रि का हिंदू धर्म में बहुत महत्व है। यह एक ऐसा समय है जब लोग नई शुरुआत करते हैं और मां दुर्गा की कृपा प्राप्त करते हैं।
नवरात्रि 2023 में मनाए जाने वाले कार्यक्रम और उत्सव (Events and Festivals To Be Celebrated in Navratri 2023)
नवरात्रि के दौरान, भक्त कई तरह के कार्यक्रम और उत्सव मनाते हैं। इनमें शामिल हैं:
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देवी कथा
नवरात्रि के दौरान, भक्त देवी दुर्गा की कथा सुनते हैं। देवी कथा में, देवी दुर्गा ने महिषासुर नामक एक राक्षस का वध किया था। यह युद्ध नौ दिनों तक चला और आखिरकार देवी दुर्गा ने महिषासुर को मार दिया। इस युद्ध की याद में, हिंदू लोग हर साल नवरात्रि का त्योहार मनाते हैं।
देवी कथाओं को विभिन्न रूपों में सुनाया जाता है। कुछ लोग देवी कथाओं को घर पर सुनते हैं, जबकि अन्य लोग मंदिरों में देवी कथाओं को सुनते हैं। देवी कथाओं को सुनने से भक्तों को मां दुर्गा की महिमा और शक्ति का अनुभव होता है।
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भजन और कीर्तन
नवरात्रि के दौरान, भक्त मां दुर्गा की स्तुति में भजन और कीर्तन गाते हैं। भजन और कीर्तन मां दुर्गा की कृपा प्राप्त करने का एक तरीका है।
भजन और कीर्तन को विभिन्न स्थानों पर किया जाता है। कुछ लोग घर पर भजन और कीर्तन करते हैं, जबकि अन्य लोग मंदिरों में भजन और कीर्तन करते हैं। भजन और कीर्तन से भक्तों को मां दुर्गा के प्रति अपना प्रेम और भक्ति व्यक्त करने का अवसर मिलता है।
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झांकियां और जुलूस
नवरात्रि के दौरान, कई जगहों पर झांकियां और जुलूस निकाले जाते हैं। झांकियां और जुलूस मां दुर्गा की महिमा का प्रदर्शन करते हैं।
झांकियां और जुलूस आमतौर पर रात में निकाले जाते हैं। झांकियों में मां दुर्गा के विभिन्न रूपों की मूर्तियां और तस्वीरें होती हैं। जुलूस में लोग मां दुर्गा के भजन और कीर्तन गाते हैं।
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कन्या पूजन
नवरात्रि के दौरान, लोग कन्या पूजन करते हैं। कन्या पूजन में, नौ कन्याओं की पूजा की जाती है। कन्याओं को मां दुर्गा का रूप माना जाता है।
कन्या पूजन/ Kanya Pujan आमतौर पर नवमी और दशमी को किया जाता है। कन्या पूजन के दौरान, कन्याओं को भोजन, कपड़े और उपहार दिए जाते हैं। कन्या पूजन से भक्तों को मां दुर्गा की कृपा प्राप्त होती है।
नवरात्रि 2023 में क्या करें और क्या न करें (Do’s and Don’ts in Navratri 2023)
यहां नीचे आपको नवरात्रि 2023 में क्या करना चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए, उसकी पूरी लिस्ट दी गई है:–
नवरात्रि 2023 में क्या नहीं करना चाहिए (What Should Not Be Done During Navratri 2023)
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शराब का सेवन न करें:
नवरात्रि के नौ दिनों में शराब का सेवन नहीं करना चाहिए। यह समय पवित्र और आत्मिकता में वृद्धि का है, जिसमें शराब की सेवन से दूरी बनाए रखना चाहिए।
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नींबू काटना न चाहिए:
नवरात्रि के दौरान नींबू काटना अशुभ माना जाता है। इसलिए नींबू का सेवन नहीं करना चाहिए ताकि यह पवित्रता की भावना को बनाए रख सकें।
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नाखून, बाल और शेविंग नहीं करें:
नवरात्रि के दौरान नाखून काटना, बाल कटवाना और शेविंग नहीं करनी चाहिए क्योंकि इसे शक्ति के एक प्रतीक के रूप में देखा जाता है।
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अंडा, मांस और मांसाहारी आहार नहीं:
नवरात्रि में अंडा, मांस और मांसाहारी आहार का सेवन नहीं करना चाहिए क्योंकि यह पवित्रता के विरुद्ध है।
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प्याज और लहसुन का सेवन नहीं:
नवरात्रि के दौरान प्याज और लहसुन का सेवन नहीं करना चाहिए क्योंकि यह पवित्रता की भावना को उद्घाटित कर सकता है।
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सिलाई या बुनाई नहीं करें:
नवरात्रि के दौरान सिलाई या बुनाई नहीं करनी चाहिए क्योंकि यह शक्ति के प्रति आदर और समर्पण का प्रतीक है।
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झूठ बोलना और कठोर शब्दों का प्रयोग न करें:
नवरात्रि में झूठ न बोलें और किसी के प्रति कठोर शब्दों का प्रयोग न करें, इससे पवित्रता और आत्मिक शुद्धता का पालन करें।
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चमड़े के आइटम्स का प्रयोग न करें:
नवरात्रि में बेल्ट, बैग, चप्पल, और जूते जैसे चमड़े के आइटम्स का प्रयोग नहीं करना चाहिए। यह पवित्रता और आत्मिक संयम का प्रतीक है, इसलिए इन्हें नवरात्रि में दूर रखें।
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दोपहर में सोना नहीं चाहिए:
नवरात्रि के नौ दिनों में दोपहर में सोना नहीं चाहिए। संध्या और सुबह के समय सोना प्रेरणा और सकारात्मकता को बढ़ावा देता है, जबकि दोपहर में सोना अल्पता का प्रतीक हो सकता है।
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अनाज और नमक का प्रयोग नहीं करें:
नवरात्रि में अनाज और नमक का प्रयोग नहीं करना चाहिए। इस समय सत्विक आहार का सेवन करना चाहिए जो शारीरिक स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है।
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मंत्र जप या पाठ करते समय बातचीत नहीं करें:
अगर आप दुर्गा चालीसा, दुर्गा सप्तशती, दुर्गा कवच पाठ कर रहे हैं, तो किसी से बातचीत नहीं करें। पाठ और मंत्र जप पूर्ण होने के बाद ही किसी से बातचीत करें।
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एक बैठे हुए में किसी भी फल का सेवन करें:
नवरात्रि में किसी भी फल को एक बैठे हुए में खाएं। इससे आत्मा को शांति मिलती है और पवित्रता की भावना बनी रहती है।
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ज्यादा मसालों का प्रयोग न करें:
नवरात्रि में ज्यादा मसालों का प्रयोग नहीं करना चाहिए। सत्विक और सात्विक आहार का सेवन करना चाहिए।
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गंदे कपड़े नहीं पहनें:
नवरात्रि में गंदे कपड़े नहीं पहनना चाहिए। शुद्धता और पवित्रता के साथ रहने के लिए साफ़ कपड़े पहनें।
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नवरात्रि में विवाह नहीं करें:
नवरात्रि के दौरान विवाह नहीं करना चाहिए। यह समय आत्मिकता में वृद्धि का है, इसलिए नवविवाहित जोड़े इस समय का सम्मान करते हैं।
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अगर आपने घट स्थापना की है:
अगर आपने घट स्थापना (कलश स्थापना) की है तो रात्रि में घर से न बाहर जाएं, इससे पवित्रता और शांति में वृद्धि होगी।
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नवरात्रि के समय सौंदर्य पार्लर न जाएं:
नवरात्रि के समय सौंदर्य पार्लर ननवरात्रि में क्या करना चाहिए जाएं। यह समय आत्मिकता में समर्पण का है, इसलिए आत्मा के उन्नति के लिए इसे ध्यान में रखें।
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गंदे या अशुद्ध स्थानों पर न जाएं:
नवरात्रि में गंदे या अशुद्ध स्थानों पर जाने से बचें। माता दुर्गा की पूजा में शुद्धि का महत्व है, और ऐसे स्थानों में जाना इस शुद्धि को प्रभावित कर सकता है।
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प्रवासित होकर न जाएं:
नवरात्रि में अनावश्यक प्रवासों से बचें। दुर्गा माता की पूजा को समर्थन देने के लिए अपने घर में ही रहें और शांति और आत्म-विकास में समय बिताएं।
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गंदे विचार न रखें:
आपके मन में शुद्ध और पॉजिटिव विचार रखने का प्रयास करें। नेगेटिविटी से दूर रहना माता दुर्गा की कृपा और आशीर्वाद प्राप्त करने में मदद कर सकता है।
नवरात्रि 2023 में क्या करना चाहिए (What Should Be Done During Navratri 2023)
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रोज़ स्नान करें और नए कपड़े पहनें:
हर दिन सुबह स्नान करें और शुद्ध नए कपड़े पहनें। यह आपकी आत्मा को शुद्धि और ताजगी प्रदान करेगा।
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मंदिरों में प्रतिदिन जाएं:
प्रतिदिन मंदिर जाकर मां दुर्गा की पूजा करें और उनकी कृपा का आशीर्वाद प्राप्त करें।
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देवी को प्रतिदिन पानी अर्पित करें:
नवरात्रि के नौ दिनों में प्रतिदिन मां दुर्गा को शुद्ध जल से स्नान कराएं।
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फूल चढ़ाएं और दुर्गा आरती पढ़ें:
प्रतिदिन देवी को फूल चढ़ाकर उनकी पूजा करें और उनकी आरती गाएं।
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नौ दिनों तक उपवास करें:
नवरात्रि में नौ दिनों तक उपवास का पालन करें। यह आत्मा को नियंत्रित करने और पवित्र बनाने में सहायक होता है।
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मंत्र और दुर्गा चालीसा का पाठ करें:
प्रतिदिन मां दुर्गा की पूजा के बाद मंत्र और दुर्गा चालीसा का पाठ करें।
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दिन में केवल सात्विक आहार का सेवन करें:
दिनचर्या में केवल सात्विक आहार का सेवन करें, जैसे कि फल, सब्जी, दाल और पानी।
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भगवान को स्वयं बनाई भोग अर्पित करें:
मां दुर्गा के लिए खुद बनाई भोग प्रस्तुत करें या प्रतिदिन फल अर्पित करें।
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छोटी बच्चियों को दान देने की कोशिश करें:
नवरात्रि में छोटी बच्चियों (1 या 2 साल की) को दान (उपहार) देकर उनका आशीर्वाद प्राप्त करें।
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अपने घर को साफ रखें:
अपने घर को साफ रखें, खासकर पूजा कमरे को स्वच्छ और पवित्र रखें।
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जगह की ध्यानपूर्ण रखवाली:
पूजा स्थल को साफ-सुथरा और शुद्ध रखने के लिए पूरी ज़िम्मेदारी लें। इससे आपकी पूजा में शक्ति का अच्छा प्रवाह रहेगा।
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ध्यान और मेधावी अभ्यास:
नवरात्रि के दिनों में ध्यान और मेधावी अभ्यास को अपनाएं। यह आपकी मानसिकता को शांति प्रदान करेगा और आत्मा को प्रेरित करेगा।
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दान का महत्व:
इस समय गरीबों और आवश्यकतामंद लोगों के लिए दान करने में संलग्न हों। यह दान का परिकल्पना और संकल्प का समय है, जो धार्मिक संघर्ष में मदद कर सकता है।
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प्राकृतिक उपचार:
नवरात्रि में स्वास्थ्य की देखभाल के लिए प्राकृतिक उपचार का सहारा लें। आयुर्वेदिक दवाइयों, योग, और प्राकृतिक उपचार से सेहत को संतुलन में रखने का प्रयास करें।
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माता के रूपों की आराधना:
नवरात्रि में माता के नौ रूपों की आराधना करें। इन रूपों के प्रति भक्ति और श्रद्धा से जीवन को पूर्णता की ओर ले जाएं।
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संगीत और कला का आनंद लें:
नवरात्रि के दिनों में संगीत, नृत्य, और कला का आनंद लेना शुभ माना जाता है। यह आत्मा को प्रसन्न करने में मदद करता है और सामजिक रूप से आत्म-विकास को प्रोत्साहित करता है।
17. पुरानी संस्कृति का सम्मान करें:
नवरात्रि में अपनी पुरानी संस्कृति का सम्मान करें। परंपराओं का पालन करना और संस्कृति के प्रति समर्पण दिखाना आत्मा को आत्म-समर्पण में ले जाता है।
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ध्यान में समय व्यतीत करें:
नवरात्रि में ध्यान और मेधा संबंधी अभ्यास में समय बिताएं। यह आत्मा को ताजगी, ऊर्जा, और आत्म-जागरूकता प्रदान करता है।
ऊपर, हमने उन सभी महत्वपूर्ण बिंदुओं का उल्लेख किया है, जो नवरात्रि व्रत के दौरान सहायक हो सकते हैं। देवी को प्रसन्न करने और फलदायी परिणाम प्राप्त करने के लिए नवरात्रि में क्या करें और क्या न करें की सूची (List of Do’s and Don’ts in Navratri) का ईमानदारी से पालन करें।
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नवरात्रि 2023 में घर पर पूजा कैसे करें? (How to Perform Puja At Home in Navratri 2023?)
नवरात्रि में घर पर पूजा करने के लिए निम्नलिखित चरणों का पालन करें:
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कलश स्थापना
नवरात्रि की शुरुआत घट स्थापना या कलश स्थापना से होती है। कलश स्थापना के लिए, एक मिट्टी का कलश लें और उसे ईशान कोण में रखें। कलश में जल, चावल, जौ, सिक्का, हल्दी, कुमकुम, और आम के पत्ते डालें। कलश के ऊपर आम के पत्ते रूखें और उसके ऊपर नारियल रखें और उसे लाल चुनरी से लपेट दें। कलश के चारों ओर दीपक जलाएं और धूप जलाएं।
नवरात्रि के लिए पूजा सामग्री (Navratri Puja Items)–
- देवी दुर्गा की मूर्ति या चित्र
- दुर्गा चालीसा
- गंगाजल
- ताजा आम के पत्ते
- एक नारियल
- चंदन
- रोली, कुमकुम
- चावल
- लौंग और इलायची
- गुलाल
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मां दुर्गा की पूजा
कलश स्थापना के बाद, मां दुर्गा की पूजा करें। मां दुर्गा की मूर्ति या तस्वीर को एक पवित्र स्थान पर रखें। मां दुर्गा को फूल, माला, अक्षत, धूप, दीप, और प्रसाद अर्पित करें। मां दुर्गा की आरती करें और उन्हें प्रार्थना करें।
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नवरात्रि के नौ दिनों में पूजा
नवरात्रि के नौ दिनों में, हर दिन मां दुर्गा के एक अलग रूप की पूजा करें। प्रत्येक दिन, मां दुर्गा को अलग-अलग फूल, माला, अक्षत, धूप, दीप, और प्रसाद अर्पित करें। मां दुर्गा की आरती करें और उन्हें प्रार्थना करें।
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नवमी और दशमी
नवमी और दशमी को, मां दुर्गा की विशेष पूजा करें। नवमी को, मां दुर्गा को भगवती का रूप माना जाता है और दशमी को, मां दुर्गा को महिषासुर मर्दिनी का रूप माना जाता है। नवमी और दशमी को, मां दुर्गा को विशेष रूप से सजाएं और उन्हें विशेष रूप से पूजा करें।
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मां दुर्गा की विदाई
दशमी को, मां दुर्गा को विसर्जित करें। मां दुर्गा को विसर्जित करने के लिए, उन्हें नदी या तालाब में ले जाएं। मां दुर्गा को विसर्जित करने से पहले, उन्हें प्रार्थना करें और उन्हें धन्यवाद दें।
नवरात्रि 2023 में घर पर पूजा करने के नियम (Rules for performing puja at home during Navratri 2023)
- पूजा करते समय, स्वच्छ और पवित्र कपड़े पहनें।
- पूजा करते समय, मन को शांत और केंद्रित रखें।
- पूजा करते समय, मां दुर्गा को अपनी सभी इच्छाओं और प्रार्थनाओं के बारे में बताएं।
- पूजा स्थल को साफ और सुव्यवस्थित रखें।
- पूजा में इस्तेमाल होने वाली सामग्री को शुद्ध और पवित्र रखें।
- पूजा में मंत्रों का जाप करें।
- पूजा में आरती करें।
- पूजा के बाद, प्रसाद का वितरण करें।
नवरात्रि की पूजा/ Navratri Puja करने से मां दुर्गा की कृपा प्राप्त होती है और भक्तों को सुख, समृद्धि और सफलता प्राप्त होती है।
Navratri Fasting Rules: अक्सर पूछे जाने वाले सवाल
प्रश्न: नवरात्रि में सिलाई करनी चाहिए या नहीं?
उत्तर: नवरात्रि में सिलाई नहीं करना चाहिए और कैंची का इस्तेमाल करने से भी बचना चाहिए।
प्रश्न: नवरात्रि में क्या नहीं खरीदना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि में अनाज, नमक, लहसुन, प्याज, चमड़ा, जानवरों से बनाए गए आहार नहीं खरीदना चाहिए।
प्रश्न: नवरात्रि में बाल धोना चाहिए या नहीं?
उत्तर: हां, नवरात्रि में बाल धोना अविशेष रूप से नियमित रूप से किया जा सकता है।
प्रश्न: नवरात्रि में पति-पत्नी को क्या करना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि में पति-पत्नी को ध्यान, प्रेम, सम्मान, और सामंजस्य में रहना चाहिए।
प्रश्न: क्या नवरात्रि में शारीरिक संबंध बना सकते हैं?
उत्तर: नवरात्रि में शारीरिक संबंध न बनाएं, क्योंकि यह एक आध्यात्मिक अवस्था है जब लोग उपवास, पूजा, और ध्यान में लगे रहते हैं।
प्रश्न: क्या नवरात्रि में गृह प्रवेश करना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि में गृह प्रवेश करना ठीक है, लेकिन इस समय आपको ध्यान रखना चाहिए कि आपका नया घर शुभ मुहूर्त में हो।
प्रश्न. क्या नवरात्रों के दौरान शराब का सेवन करना सही है?
उत्तर: नवरात्रों में शराब का सेवन करना अनुचित माना जाता है, क्योंकि यह आध्यात्मिक तत्व और पवित्रता के खिलाफ है।
प्रश्न: नवरात्रि कितने अक्टूबर से है?
उत्तर: 2023 में, शारदीय नवरात्रि 15 अक्टूबर से शुरू होकर 24 अक्टूबर तक चलेगी।
प्रश्न: नवरात्रि की तैयारी कैसे करें?
उत्तर: नवरात्रि की तैयारी में, पहले से ही घर की सफाई और पूजा स्थल की सजावट का ध्यान रखें। सात्विक आहार जैसे कि फल, सब्जियाँ, दूध, और मिठाई समेत नियमित रूप से उपवास करें।
प्रश्न: नवरात्रि 2023 में सप्तमी कब है?
उत्तर: 2023 में नवरात्रि 15 अक्टूबर से शुरू हो रही है। नवरात्रि की सप्तमी तिथि 21 अक्टूबर को है। इस दिन मां दुर्गा के सातवें स्वरूप मां कालरात्रि की पूजा की जाती है।
प्रश्न: नवरात्रि में कैसे सोना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि में व्रत रखने वाले भक्तों को कुछ विशेष नियमों का पालन करना होता है, जिसमें सोने की आदत भी शामिल है। नवरात्रि में व्रत रखने वाले भक्तों को दिन में नहीं सोना चाहिए। ऐसा माना जाता है कि दिन में सोने से व्रत का फल नहीं मिलता। इसके अलावा, नवरात्रि में भक्तों को जमीन पर सोना चाहिए। ऐसा करने से उनका शरीर और मन शांत और केंद्रित रहता है।
प्रश्न: काला नमक से व्रत टूटता है क्या?
उत्तर: जी हां, काला नमक (ब्लैक साल्ट) व्रत की उपासना को तोड़ सकता है। धार्मिक दृष्टिकोण से, व्रत के दौरान नमक का सेवन वर्जित माना जाता है। हालांकि, सेंधा नमक को व्रत के दौरान खाना अनुमेय है। सेंधा नमक को शुद्ध और पवित्र माना जाता है, और यह व्रत के नियमों का उल्लंघन नहीं करता है।
प्रश्न: नवरात्रि के क्या नहीं करना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि के दौरान तामसिक भोजन, नशे, अश्लीलता, झूठ, चोरी, लड़ाई-झगड़ा, निंदक भाषा, चमड़े के सामान, बाल और नाखून काटने से बचना चाहिए।
प्रश्न: क्या नवरात्रि में सिर धुलना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि के दौरान सिर धोना या न धोना एक व्यक्तिगत निर्णय है। धार्मिक दृष्टिकोण से, सिर धोना वर्जित नहीं है, लेकिन कुछ लोग मानते हैं कि इससे व्रत टूट जाता है। यदि आप धार्मिक रूप से व्रत रखते हैं, तो आप सिर धोने से बच सकते हैं। यदि आप व्रत के दौरान अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना चाहते हैं, तो आप सिर धो सकते हैं।
प्रश्न: क्या नवरात्रि में लड़कियां बाल कटवा सकती हैं?
उत्तर: धार्मिक दृष्टिकोण से, नवरात्रि के दौरान बाल और नाखून काटना वर्जित माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि ऐसा करने से मां दुर्गा नाराज हो जाती हैं और भक्तों को आशीर्वाद नहीं देती हैं।
प्रश्न: नवरात्रि में देवी को क्या चढ़ाएं?
उत्तर: नवरात्रि में मां दुर्गा को उनकी प्रिय चीजों का भोग लगाया जाता है, जैसे कि दूध, दही, घी, चीनी, और शहद से बनी मिठाइयां, फल, फूल, धूप, दीप, और अगरबत्ती, चावल, दाल, और सब्जियां, नारियल, लड्डू, और हलवा।
नवरात्रि के हर दिन मां दुर्गा के अलग-अलग रूप की पूजा की जाती है, इसलिए प्रत्येक दिन मां को उनकी विशेष प्रिय चीजों का भोग लगाया जाता है।
प्रश्न: क्या नवरात्रि के पति पत्नी एक साथ सो सकते हैं?
उत्तर: नवरात्रि में पति-पत्नी एक साथ सो सकते हैं। धार्मिक दृष्टिकोन से ऐसी कोई निषिद्धता नहीं है। लेकिन, कुछ व्यक्ति नवरात्रि के इस पवित्र समय में व्रत, पूजा और आत्मिक साधना के लिए संयमित जीवन जीने का पालन करते हैं, जिसमें सामाजिक संबंधों को संज्ञेयता दी जा सकती है। यह व्यक्ति की व्यक्तिगत आदतों और धार्मिक विशेषताओं पर निर्भर करता है।
प्रश्न: नवरात्रि में कन्या पूजन क्यों किया जाता है?
उत्तर: नवरात्रि में कन्या पूजन इसलिए किया जाता है क्योंकि देवी दुर्गा को नवविवाहित कुमारियों के रूप में भी पूजा जाता है। कन्या पूजन में 9 कुमारियों की पूजा की जाती है, जो देवी दुर्गा के 9 रूपों का प्रतिनिधित्व करती हैं। कन्या पूजन को एक शुभ और मंगलकारी अनुष्ठान माना जाता है।
प्रश्न: नवरात्रि में भोजन कैसे करें?
उत्तर: नवरात्रि में कई लोग केवल सात्विक भोजन करते हैं। सात्विक भोजन में मांसाहार, शराब, और अन्य नशीले पदार्थों का सेवन नहीं होता है। नवरात्रि में आप फल, सब्जियां, अनाज, और दालें खा सकते हैं।
प्रश्न: नवरात्रि में कन्या पूजन कैसे करें?
उत्तर: नवरात्रि में कन्या पूजन एक महत्वपूर्ण अनुष्ठान है। इस अनुष्ठान में 9 कुमारियों की पूजा की जाती है, जो देवी दुर्गा के 9 रूपों का प्रतिनिधित्व करती हैं। कन्या पूजन के लिए, 9 कुमारियों को भोजन, मिठाई, और उपहार दिए जाते हैं।
प्रश्न: नवरात्रि में क्या करना चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि में लोग देवी दुर्गा की पूजा करते हैं। वे व्रत रखते हैं, भजन गाते हैं, और कन्या पूजन करते हैं। नवरात्रि के दौरान लोग अपने आध्यात्मिक विकास पर ध्यान केंद्रित करते हैं।
प्रश्न: नवरात्रि में कौन-कौन सी पूजाएँ की जाती हैं?
उत्तर: नवरात्रि में नौ दिनों में मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है, जिसमें शैलपुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कुष्माण्डा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी, सिद्धिदात्री शामिल हैं।
प्रश्न: नवरात्रि में कौन-कौन सी चीजें खानी चाहिए?
उत्तर: नवरात्रि में लोग सात्विक आहार जैसे कि फल, सब्जियाँ, दूध, मिठाई, और व्रत विशेष खाने का पालन करते हैं। नॉन-वेजिटेरियन और अल्कोहल से बचना चाहिए।
Navratri Fasting Rules: निष्कर्ष
आपको श्रद्धा और समर्पण से नवरात्रि 2023 में क्या करें और क्या न करें (Do’s and Don’ts Do in Navratri 2023) के नियमों और आचरणों का पालन करना चाहिए। नौ दिनों तक की तपस्या, पूजा, और उपासना से आप अपनी आत्मा को शुद्धि और पवित्रता में ले जा सकते हैं। इस समय में आचार्य और आध्यात्मिकता में वृद्धि करने का प्रयास करें, जिससे आप न केवल नवरात्रि के दौरान, बल्कि पूरे जीवन में भगवान के प्रति अधिक समर्पण में जी सकें। इस धार्मिक अनुष्ठान में आपकी आत्मा को शांति, संतुलन और उच्चतम ज्ञान की प्राप्ति होगी। साथ ही, आप अपने परिवार और समाज में भी प्रेरिति और संजीवनी शक्ति के साथ योगदान करेंगे। इस नवरात्रि में आपकी सफलता, शांति, और सुख-शांति की कामना करते हुए, आप इस पवित्र अवसर का आनंद उठाएं।
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